कायनात का नियम है
हर क्षण चलते जाना है
रुक गया जो रास्ते में
उसका मरना निश्चित है l
ग्रह नक्षत्र तारे सब चल रहे हैं
हमारी धरती ग्रह में शामिल है
जन्म से निरन्तर चल रही है
सिद्दत से नियमों का पालन कर रही है l
यही कारण है कि एक साल का गमन
एक दूसरा साल का हो रहा है आगमन ,
जाने वाला साल पुराना हो चूका है
आने वाला साल को "नव वर्ष " कहते हैं l
"नव वर्ष "नवीन उम्मीद जगाता है
हर निराश जन में नया जोश भरता है
पुराने वर्ष में कटु और मधुर अनुभव है
कटुता भूलकर , नया उद्योम करता है l
नयासाल का हर्षोल्लास स्वागत होता है
पुराने साल का म्लान विदाई होती है
"भविष्य मधुर हो "यही हमारी आशा है
"नव वर्ष मंगलमय हो"यही हमारी दुआ है |
कालीपद "प्रसाद "
दिल को छूती बहुत मर्मस्पर्शी प्रस्तुति...लाज़वाब
ReplyDeleteनव वर्ष मंगलमय हो |
Deleteआशा और उम्मीद भरी रचना ...
ReplyDeleteआपको और परिवार में सभी को नव वर्ष की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं ...
आपको और आपके परिवार के सभी को भी नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं |
Deleteएक उम्मीद के साथ फिर से उठकर जोश से चलने को तैयार होना सिखाता है नया साल ....
ReplyDeleteसुन्दर प्रस्तुति
नए साल की हार्दिक मंगलकामनाएं!
नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाए|
Deleteनव वर्ष मंगलमय हो
ReplyDeleteनव वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं |
Deleteबहुत सुन्दर...नव वर्ष की हार्दिक मंगलकामनायें!
ReplyDeleteसुंदर भावाभिव्यक्ति.... नूतन वर्ष की हार्दिक शुभकामनाएँ...
ReplyDeleteबहुत ही बेहतरीन और सुन्दर रचना...
ReplyDeleteनववर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं