माँ का हर रूप की महिमा केवल सत्रह अक्षर में व्याख्या करना असम्भव है| हाइकू के नियमो का ध्यान रखते हुए एक नगण्य प्रयास है| कुछ कह नहीं पाया | सबकुछ अनकहा रह गया है |यह सूर्य को दीपक
दिखाने जैसे हो गया है |
१,शैलपुत्री
पर्वत राज
हिमालय महान
पुत्री पार्वती|
शैल दुहिता
जगत में विख्यात
है शैलपुत्री||
२ ब्रह्मचारिणी
तपश्चारिणी
बनने शिव पत्नी
बनी योगिनी|
ब्रह्मचारिणी
बनी शिव की पत्नी
दुसरा रूप||
३ चंद्रघंटा
तृतीय रूप
मुकुट में चन्द्रमा
माँ चन्द्रघंटा|
सिंह आरुड़
स्वर्णवर्ण शरीर
भय हारिणी ||
४.कुष्मांड
विश्व की सृष्टि
अंड और ब्रह्माण्ड
वह कुष्मांड |
सूर्य नक्षत्र
करती है सृजन
प्रकाशवान ||
५ स्कंदमाता
स्कन्द की माता
नाम है स्कंदमाता
गोद में स्कन्द |
पंचम रूप
त्रिनेत्र चतुर्भुज
ब्रह्मस्तुता माँ ||
६.कात्यायनी
कात्यायनी माँ
कात्यायन की बेटी
छठवां रूप |
कुँवारी कन्या
मन पसंद वर
पूजा से पाए ||
७.कालरात्रि
रजनी सम
काली है कालरात्रि
बिखरे बाल |
गधा सवारी
चमकीले त्रिनेत्र
है शुभंकरी ||
८. महागौरी
बहुत गोरी
वुद्धि ,शांति स्वरुपा
माँ महागौरी ||
त्रिशूल हस्ते
शत्रुभय हारिणी
भक्त वत्सला ||
९. सिद्धिदात्री
भक्त वान्छित
कर्म फल प्रदायिनी
माँ सिद्धिदात्री |
नवम रूप
नव रात्रि पर्व का
अन्तिम पूजा ||
१० .विजय दशमी
विजयी भक्त
उल्लासित माहोल
दशमी पर्व |
माता का जय
जयकार वायु में
धरा से नभ ||
११ . सत्य का जय
शत्रु का नाश
असत्य पराभूत
सत्य का जय |
कल्याणी माता
पूजते हैं विधाता
अहं नमामि ||
कालिपद "प्रसाद "
सर्वाधिकार सुरक्षित
सुन्दर अति सुंदर-
ReplyDeleteनवरात्रि की शुभकामनायें
आ0 कलिपद जी बहुत ही सुंदर हाइकु , बहुत बधाई आपको ।
ReplyDeleteबहुत सुंदर ! हायकू .
ReplyDeleteनवरात्रि की शुभकामनाएँ .
इस पोस्ट की चर्चा, बृहस्पतिवार, दिनांक :-10/10/2013 को "हिंदी ब्लॉगर्स चौपाल {चर्चामंच}" चर्चा अंक -21 पर.
ReplyDeleteआप भी पधारें, सादर ....
राजीव कुमार झा जी ,आपका बहुत बहुत आभार
Deleteमन को प्रभावित करते सुंदर हाइकू ..!
ReplyDeleteनवरात्रि की शुभकामनाएँ ...!
RECENT POST : अपनी राम कहानी में.
बहुत सुन्दर | नवरात्रि की शुभकामनाएँ |
ReplyDeleteमेरी नई रचना :- मेरी चाहत
नवरात्रि की शुभकामनायें
ReplyDeletebahut bahut sundar hiku mata par....navratri ki shubhkamnayein
ReplyDeleteराजेन्द्र कुमार जी ,आपका बहुत बहुत आभार !
ReplyDeleteबहुत बढिया..नवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाएँ !!
ReplyDeleteवाह.....बहुत ही सुन्दर प्रस्तुति.....
ReplyDeleteनियमों का बंधन भी आपको रोक नहीं पाया..
सादर
अनु
बहुत सुंदर .... माँके हर रूप का वर्णन ....
ReplyDeleteबहुत सुन्दर प्रस्तुति...!
ReplyDelete--
आपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा आज बृहस्पतिवार (10-10-2013) "दोस्ती" (चर्चा मंचःअंक-1394) में "मयंक का कोना" पर भी है!
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सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का उपयोग किसी पत्रिका में किया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
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शारदेय नवरात्रों की हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
आपका बहुत बहुत आभार डॉ रूपचन्द्र शास्त्री जी !
Deleteआपका बहुत बहुत आभार डॉ रूपचन्द्र शास्त्री जी !
Deleteशक्ति स्वरूपा माँ दुर्गा के रूपों की बहुत सुन्दर प्रस्तुति ..
ReplyDeleteशुभ नवरात्र!
बहुत ही सामयिक, हार्दिक शुभकामनाएं.
ReplyDeleteरामराम.
सुन्दर प्रस्तुति !!
ReplyDeleteबहुत ही उत्तम ... माँ के अनेक रूप हाइकू के माध्यम से बखूबी वर्णित किये हैं ...
ReplyDeleteसर , सुन्दर प्रस्तुति व वर्णन , जय माता की
ReplyDeletebahut sundar ....
ReplyDeletebahut sundar ma ke roop...anek ,,,
ReplyDeleteबहुत ही सुन्दर .. सुन्दर वर्णन
ReplyDeleteसुंदर प्रस्तुति..नवरात्र की शुभकामनाएं।।।
ReplyDeleteमाँ जगदम्बे के सभी रूपों का सुन्दर ढंग से वर्णन ..अच्छे हाइकू
ReplyDeleteबहुत सुन्दर रचना
नवरात्रि की शुभकामनाएँ ...
भ्रमर५
वाह
ReplyDeleteसभी बढ़िया हैं जी
बहुत सुन्दर प्रस्तुति काली सर जी एक नयी विधा के साथ ... माँ जगदम्बे का आशीर्वाद बना रहे सादर
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